इन 5 टेस्ट में से 1 करा लिजिए !
यूं तो कोरोना वायरस ने दुनिया भर में अपना प्रभाव छोड़ा है लेकिन भारत में अभी तक इसका प्रकोप बहुत अधिक देखा नहीं गया है । हां, कुछ मामले अवश्य सामने आए हैं लेकिन फिलहाल स्थिति कंट्रोल में हैं ।
लेकिन हर घर और हर परिवार को यही चिंता सता रही है कि आखिर वो ऐसा क्या करे कि कोरोना चाहकर भी उसे छू न सके और अगर कुछ संदेह हो तो कोरोना का पता कैसे चले ? इस वीडियो में हम आपको कुछ ऐसे तरीके और सावधानियां बता रहे हैं जिससे पता चले कि कोरोना की स्थिति में क्या किया जाए ।
देश में कोरोना वायरस से संक्रमित मामले 11 लाख का आंकड़ा भी पार कर चुके हैं । दुनिया में एक करोड़ चालीस लाख से ज्यादा लोग कोरोना वायरस से ग्रसित हैं । ऐसे में अब लोगों की उम्मीद कोरोना वैक्सीन को लेकर बनी हुई है । हर किसी का एक ही सवाल है कि आखिर कोरोना की वैक्सीन कब आएगी । दिल्ली, एम्स अस्पताल से वैक्सीन को लेकर एक बड़ी खबर आई है । दिल्ली एम्स में कोरोना वैक्सीन का मानव परीक्षण हो रहा है । 100 लोगों पर इस कोरोना वैक्सीन का ट्रायल किया जा रहा है, साथ ही साथ देश के 12 और संस्थानों में भी इस वैक्सीन का ट्रायल हो रहा है, जिसमें पटना एम्स भी शामिल है । यह अब तक देश का सबसे बड़ा मानवीय कोरोनावायरस परीक्षण है ।
कोरोना वायरस का पता लगाने के लिए कौन-सा परीक्षण यानी टेस्ट उपलब्ध है ?
कोरोना वायरस COVID-19 की जांच करने के लिए फिलहाल कोई उपलब्ध परीक्षण किट नहीं है लेकिन फिर भी अस्पताल में लगातार परीक्षणों की एक श्रृंखला द्वारा इसका पता लगाया जा सकता है ।
कौन सी प्रयोगशालाएं यानी लैब कोरोनोवायरस परीक्षण कर सकती हैं ?
इस वायरस के लिए परीक्षण केवल उन विशेष प्रयोगशालाओं में किया जा सकता है जो ऐसा
टेस्ट करने के लिए प्रमाणित की गई हों ।
प्रयोगशाला यानी लैब में आपसे निम्नलिखित नमूनों में से एक का नमूना लिया जाएगा :
एक स्वाब परीक्षण : लैब में एक विशेष रुई की पट्टी से गले या नाक के अंदर का नमूना लिया जाएगा ।
एक नाक की एस्पिरेट : प्रयोगशाला में आपकी नाक में एक सैलिन यानी खारा सोल्युशन इंजेक्ट किया जाएगा, फिर कोमलता के साथ उस नमूने को बाहर निकाल लिया जाएगा ।
एक ट्रेकहील एस्पिरेट : ब्रोंकोस्कोप नामक एक पतली, हल्की ट्यूब आपके फेफड़ों में डाली जाती है, जिससे एक नमूना एकत्र किया जाएगा ।
थूक का परीक्षण : थूक आपके फेफड़े और बलगम का एक प्रकार है जिसे नाक से बाहर निकाला जाता है या एक पट्टी के द्वारा नाक से बाहर निकाला जाता है ।
इसमें एकत्र किए गए खून के नमूने का विश्लेषण किया जाएगा, या कोरोना वायरस के लिए एक कंबल परीक्षण के माध्यम से या एक विशेष जीन अनुक्रमण परीक्षण के माध्यम से पता लगाया जाएगा । यह शरीर में कोरोनोवायरस की मात्रा का पता लगाता है।
हालाँकि, कोरोना में आपको केवल परीक्षण की आवश्यकता हो सकती है यदि आपमें कोरोना संक्रमण के लक्षण हैं या फिर आपने हाल ही में दुनिया के उन देशों की यात्रा की है जहाँ संक्रमण दर अधिक है, तो आपको परीक्षण की आवश्यकता हो सकती है। कोविड-19 के लक्षणों में शामिल हैं : बुखार, गले में खराश आदि ।
नहीं, फिलहाल अभी तक, कोविड-19 संक्रमण का कोई इलाज नहीं है। लेकिन सावधानी बरतना ही इसके बेहतर इलाजों में से एक है ।
Girish is Hindi Content Writer and formal writer at IJCP.
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